फिर भी बेवफा तुम नही
चंद पंक्तियाँ ऐसे लोगों के नाम जिन्हें हम कभी खोना नही चाहते,
कुछ लोगों को हम चाह कर भी नही भूल पाते,
और कुछ लोग हमारी जिन्दगी में ऐसे भी आते है
जिन्हें हम ही कभी याद नही आते..
कितना मनाने की हम उनको कोशिस करते हैं,
और कमबख्त वो ही किसी और को अपना बना जाते हैं,
हम सालों-साल उन्हे देखते बीता जाते हैं,
और हफ्ते भर में ही वो किसी और के हो जाते हैं..
हम मायुस हो कर सब हार जाते हैं,
और वो किसी और के हाथ में हाथ डाल के सामने से हमारे निकल जाते हैं..
जानता हूँ की कमियाँ “आदी”में बहुत होंगी,
पर बिन कमियों के तो तुम भी नही होंगी,
माना की सोच में तेरी अच्छा नही हूँ मैं,
पर इश्क में रात और दिन सिर्फ तेरा ही हूँ मैं..
अब न एक पल भी जीना गंवारा होगा तेरे बिना,
चाहत का इतना बड़ा आशिक “आदी” है तेरा..
बिन तेरे जिंदगी में कुछ भी नही ,
इसलिए सम्भाल लेना मुझ को तू थोडा..
Ⓒ आदी डबराल